28 January 2009

सहकारिता के विकास के लिए जिलें को दो सालों में मिली करोड़ों की मदद...

एकीकृत सहकारी विकास परियोजना के तहत सागर जिले में बुनियादी ढांचात्मक कार्यों को पूरा कराने जिले की सभी सेवा सहकारी समितियों के कर्मचारियों एवं पदाधिकारियों को स्थानीय, जिला एवं राज्य स्तर के प्रशिक्षण दिलाने के काम शीर्घता से पूरे कराए जाएं। यह निर्देश जिला कलेक्टर ने परियोजना के जिला स्तरीय समन्वय समिति की समीक्षा बैठक के दौरान जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित के सभी शाखा प्रबंधकों को दिए।

जिला कलेक्टर हीरालाल त्रिवेदी की अध्यक्षता मे आयोजित बैठक में परियोजना के तहत अब तक किए गए कार्यों की समीक्षा की गई। बैठक में बताया गया कि परियोजना द्वारा 42 गोदामों की मरम्मत का काम शुरू था उनमें से 15 का काम पूरा हो चुका है जबकि शेष 28 का काम प्रगति पर है। 36 नए गोदामों के निर्माण के सिलसिले मे अभी तक 21 गोदामों के ले आउट का काम पूरा हो चुका है।
परियोजना के महाप्रबंधक एमएम मालवीय ने परियोजना के तहत चल रहे अन्य कार्यों के बारे मे बताया कि वर्ष 2007-08 में 10 प्रशिक्षण शिविरों का आयोजन हुआ। जिनमें विभिन्न सेक्टर की सहकारी संस्थाओं के पदाधिकारियों व कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया गया। पिछले साल मार्च मे रहली मे आयोजित रहस मेले के दौरान जिले की सभी 178 सहाकारी समितियों का सम्मेलन कराया गया।
इसके अलावा वर्ष 2008-09 में सहकारी प्रशिक्षण केन्द्र नौंगांव के द्वारा प्राथमिक उपभाक्ता भण्डारों का दो दिवसीय प्रशिक्षण व मत्स्य बीज प्रक्षेत्र, पौण्डी जिला सतना के द्वारा जिले की मत्स्य सहकारी समितियों के सदस्यों का तीन दिवसीय अध्ययन व प्रशिक्षण कार्यक्रम का भी आयोजन कराया गया।
बीड़ी व्यवसाय को आगे बढ़ाने के लिए परियोजना के तहत किए गए कामों के बारे मे श्री मालवीय ने बताया कि बीड़ी व्यवसाय को बढ़ावा देने के लिए अब तक 29 बीड़ी सहकारी समितियों के लिए 43 लाख रूपए मंजूर किए गए हैं। साथ ही बीड़ी संगठनों के गठन व विपणन की व्यवस्था भी की गई है। बीडी संघ ने अपने दो माह के समय में सदस्य संस्थाओं के जरिए 60 लाख बीड़ी का निर्माण कराया एवं 15 हजार बीड़ी श्रमिकों को रोजगार मुहैया कराया। एकीकृत सहकारी विकास परियोजना के क्षेत्रीय निदेशक ने बीड़ी सघो के भ्रमण कर इस दिशा मे हुए कार्यों की प्रगति की सराहना की है।
गौरतलब है कि राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम नई दिल्ली द्वारा सागर जिले की एकीकृत सहकारी विकास परियोजना के लिए मंजूरी 21 मार्च 2007 को दी गई थी। 1600.82 लाख रूपए की लागत वाली इस पांच वर्षीय परियोजना के तहत पहले दो वर्षों में 869.02 लाख रूपए दिए गए। जिसमें से विभिन्न सेक्टरों के तहत 680.33 लाख रूपए की वित्तीय सहायता मंजूर की गई। जिसके तहत जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित सागर को 52 लाख रूपए, पेक्स समितियों को 486.63 लाख रूपए, विपणन सहकारी समितियों को 15 लाख रूपए, मत्स्य सहकारी समितियों को साढ़े सात लाख रूपए, बुनकर समितियों को 3 लाख 20 हजार रूपए एवं अन्य समितियों को 116 लाख रूपए की मदद मंजूर हुई है।
सर्वश्री जय भगवान त्यागी के क्षेत्रीय निदेशक एकीकृत सहकारी विकास परियोजना ,परियोजना के महाप्रबंधक एमएम मालवीय, पीएस नागेश परियोजना की मॉनिटरिंग सेल के निदेशक प्रतिनिधि, टीए खान, प्रतिनिधि अध्यक्ष मप्र राज्य सहाकारी बैंक मर्यादित भोपाल, रमन तिवारी प्रतिनिधि जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित सागर, सुश्री सोना यादव प्रतिनिधि मत्स्योद्योग जिला सागर, आरएस यसादव सहायक श्रम आयुक्त सागर, एसएन मनोटे ग्रामोद्योग अधिकारी सागर, एलएन उपाध्यय प्रतिनिधि जिला सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक सागर, रामदीन गौड़ अध्यक्ष जिला बीड़ी सहकारी संघ मयोदित सागर व सहकारी बैंक की शाखाओं के प्रबंधक शामिल हुए।

0 comments:

 
© Media Watch Group-Copyright to Visitors Sagar Watch